इतिहास गवाह है

इतिहास गवाह है सदा-सदा से कितना तप का तेज और शक्ति, असंभव भी संभव होता है निखर जाती है तप से भक्ति, अनुष्ठान कितने ही कर लो इंद्रिय निरोध से आत्मा जगती, वर्तमान पुकार रहा है दिखला दो सब अपनी शक्ति, संकट विषम है देश पे आया नही झुकेंगे बात है पक्की, घर पर रहना…